रीवा 11 मई 2020. रीवा एवं शहडोल संभाग के कमिश्नर डॉ. अशोक कुमार भार्गव ने निर्देश दिये हैं कि ग्राम पंचायतों द्वारा 15वें वित्त आयोग मद की 50 प्रतिशत राशि से पेयजल, स्वच्छता, रेनवाटर, हार्वेÏस्टग जल की रिसाइकिलिंग के कार्य करायें जाय। इनको शामिल कर ग्राम पंचायत के अनुमोदन से संशोधित जीपीडीपी 2020-21 तैयार कर ई-ग्राम स्वराज पोर्टल पर अपलोड करें।
कमिश्नर डॉ. भार्गव ने कहा कि ग्राम पंचायतों द्वारा पेयजल, स्वच्छता एवं जल की रिसाइकिलिंग करने के कार्य लिये जाय जैसे पेयजल हेतु तालाब निर्माण, पेयजल कूप निर्माण, शासकीय भवनों में रेनवाटर, हार्वेÏस्टग, जल की रिसाइकिलिंग, सोख्ता गढ्ढा, वर्षा के जल को गिट्टी रेत आदि की संरचना बनाकर फिल्टर कर कूप पुनभरण, पेयजल कूप की मरम्मत, गहरीकरण, पेयजल संग्रहण हेतु भू-स्तर, टंकी निर्माण, गंदे पानी की निकासी हेतु नाली, नाला, निर्माण एवं कव्हर करना। बारह मासी पानी की उपलब्धता होने पर सामुदायिक शौचालय, स्नानागार, शासकीय भवनों में महिला एवं पुरूष शौचालय का निर्माण सामुदायिक कचरा पेटी स्थापित करना, मैन्युअल कचरा गाड़ी क्रय करना, कचरा संग्रहण केन्द्र, सामुदायिक गोबर गैस, जैविक खाद यूनिट की स्थापना करना जिसका संचालन स्वसहायता समूह के माध्यम से किया जायेगा। सुरक्षा एवं जल की उपलब्धता होने पर न्यूनतम 10 हजार वर्गफिट से अधिकतम एक एकड़ क्षेत्र में सामुदायिक पार्क का निर्माण कर पौध रोपण करना पार्क में पेवर ब्लाक, बैंच, फुटपॉथ का निर्माण कर लाइट लगायी जाय। उन्होंने कहा कि एसी नल जल योजनाएं जो ग्राम पंचायतों द्वारा स्वंय स्थापित की गयी हैं या पीएचई द्वारा ग्राम पंचायत को हस्तांतरित की गयी है उनका संधारण किया जाना है। पेयजल प्रदाय हेतु पाइप लाइन का विस्तार, पशुओं के पानी पीने हेतु संरचना का निर्माण, ग्राम पंचायत की साफ-सफाई एवं सामग्री क्रय की जाय। पुराने पेयजल एवं वावड़ियों का सुधार, घाटों की पोताई एवं साफ-सफाई स्टाप डैम, चेक डैम इनकी मरम्मत एवं गेट का सुधार, इंसीनेटर की स्थापना अन्य जल संबर्धन जल संरक्षण तथा स्वच्छता संबंधी निर्माण कार्य जिसकी जिला जल एवं स्वच्छता समिति द्वारा अनुशंसा की जाय। निम्न कार्य नही कराये जा सकते । आरो वाटर प्लांट की स्थापना, हैण्डपंप खनन, ट्यूब बेल खनन, पेयजल परिवहन, पेयजल टैंकर क्रय करना, मोटर पंप क्रय एवं मरम्मत कार्य नही कराया जा सकता। सफाई कर्मी का वेतन एवं स्थापित की गयी यूनिट के संचालन पर व्यय, मैन्युअल कचरा गाड़ी के अतिरिक्त अन्य डीजल या पेट्रोल से संचालित कचरा गाड़ी, नवीन स्टाप डैम एवं चेक डैम का निर्माण नही कराया जा सकता।
कमिश्नर ने कहा कि 15वें वित्त आयोग मद से कुल प्राप्त राशि के 50 प्रतिशत राशि से नवीन अधोसंरचना का निर्माण कराया जा सकता है। जैसे रपटा, पुलिया (ग्राम पंचायत आवादी क्षेत्र, शासकीय भवनों तथा शमशान घाट, कव्रिस्तान को आवादी क्षेत्र से जोड़ने वालों रास्तों पर), बाउंड्रीबाल का निर्माण पंचायत भवन, कव्रिस्तान, शमशान घाट, स्कूल, आंगनवाड़ी, शासकीय भवन एवं सामुदायिक भवनों में, काजी हाउस (2 हजार से अधिक जनसंख्या वाले ग्रामों में माडल प्राक्कलन एवं ड्राइंग अनुसार), पुस्तकालय भवन का निर्माण, बाजार चबूतरे, दुकान का निर्माण एवं चौपाल के लिए चबूतरे का निर्माण, यात्री प्रतिक्षालय का निर्माण (मानक प्राक्कलन एवं ड्राइंग अनुसार), पेवर ब्लॉक सड़क का निर्माण (शासकीय संपत्ति के भीतर, कवर्ड कैम्पस में तथा भवन को जोड़ने हेतु (मानक प्राक्कलन एवं ड्राइंग अनुसार ), एलईडी स्ट्रीट लाइट (ऊर्जा विभाग के स्पेशिफिकेशन अनुसार), नि:शक्तजनों के लिए बाधारहित वातावरण निर्माण, रैम्प का निर्माण, पंचायत भवन की मरम्मत तथा अन्य शासकीय भवनों की मरम्मत, पुताई एवं बिजली फिटिंग का कार्य किया जा सकता है। उन्होंने बताया कि उपरोक्त श्रेणी में निम्न कार्य नहीं कराये जा सकते जैसे मुरमीकरण, ग्रेवल सड़क का निर्माण, स्वागत द्वार, प्रतिमा स्थापना, सौर ऊर्जा लाइट संबंधी मरम्मत कार्य, एयर कंडीशन, मोबाइल, लैपटॉप, टीव्ही, फ्रीज क्रय नहीं किये जा सकते। सड़क पर लगने वाले साइन बोर्ड ग्राम पंचायत द्वारा कार्यालयीन व्यय, स्थापना व्यय, वेतन मानदेय का भुगतान, टेन्ट किराया, स्वल्पाहार पर व्यय, विज्ञापन बैनर पर व्यय नहीं किया जा सकता। उन्होंने कहा कि 15वें वित्त आयोग मद के अन्तर्गत कार्यों को प्राथमिकता के क्रम में चयन कर परीक्षण उपरांत जीपीडीपी 18 मई के पूर्व ई-ग्राम स्वराज पोर्टल पर अपलोड करें।
ग्राम पंचायतों में 15वें वित्त आयोग मद से पेयजल, स्वच्छता,रेनवाटर, हार्वेसि्टंग के काम लिये जाय – कमिश्नर डा.भार्गव
रीवा से सम्भागीय ब्यूरो अनिल पटेल की रिपोर्ट