*पशुपतिनाथ महादेव की होगी प्राणप्रतिष्ठा*
थांदला मनीष वाघेला
थांदला के कलाजी नगर (फखरी कॉलोनी) में नवनिर्मित श्री पशुपतिनाथ मंदिर पर दो दिवसीय शिव परिवार का प्राण-प्रतिष्ठा का आयोजन किया जा रहा है। पवित्र श्रावण मास में यहां श्री पशुपतिनाथ की प्रतिमा के साथ सम्पूर्ण शिव परिवार को विराजित किया जा रहा है ।
*दो दिवसीय धार्मिक उत्सव*
आयोजन की विस्तृत जानकारी देते हुए मंदिर समिति के प्रमुख सदस्य मुकेश अहिरवार व हितेश पटेल ने बताया कि दो दिवसीय इस धर्म आयोजन में 15 अगस्त रविवार को दोपहर एक बजे स्तानीय हनुमान अष्ट मंदिर (बावड़ी) परिसर से कलश यात्रा के साथ शिव परिवार की शोभायात्रा गाजे बाजे के साथ निकलेगी जो नगर के प्रमुख मार्गों से होकर कलाजी नगर (फ़ख़री कालोनी) स्थित नवनिर्मित मंदिर प्रांगण पहुचेगी । जहां विद्वान पंडितों द्वारा धार्मिक विधि विधान से गणेशपूजन के साथ प्रतिमाओं का जलाधिवास, अन्नाधिवास, शय्याधिवास कर आरती सम्पन्न होगी। इस अवसर पर शाम 7:30 बजे से देर रात्रि तक सुंदरकांड पाठ का आयोजन होगा ।
*सोमवार को होगी प्राणप्रतिष्ठा*
16 अगस्त श्रावण सोमवार को प्रातः 9 बजे से देवपूजन प्रतिष्ठा होम आरंभ होकर दोपहर 1 बजे शिव परिवार की प्रतिमाओ की मंदिर में प्राणप्रतिष्ठा की जावेगी। दोपहर 2:00 पुर्णाहुति के बाद महाआरती पश्चात महाप्रसादी का वितरण किया जावेगा।
*क्यो कहा जाता पशुपतिनाथ*
हिंदू धर्म में सावन मास का विशेष महत्व है. यह महीना भगवान शिव को समर्पित है. 16 अगस्त को श्रावण माह का अंतिम सोमवार रहेगा । धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, सावन के महीने में भगवान शिव और माता पार्वती की विधि-विधान से पूजा करने से भक्त की सभी मनोकामना पूरी होती हैं भगवान शिव का यह अस्त्र मात्र ही कल्याणार्थ है, इसी कारण इसे ‘शुभ वज्र’ कहा गया है। मनुष्य के समान पशुओं के प्रति भी शिव के हृदय में अगाध वात्सल्य था। इस कारण उन्हें ‘पशुपति’ नाम मिला। इसलिए उन्हें पशुपतिनाथ भी कहा जाता है।