खरीदी केंद्र शुरू होने के पहले अधिकांश किसानों ने बेच दी धान, अब फिर खेला जायेगा फर्जी खेल, दमोह से कुंडेश्वर टाइम्स ब्यूरो मोहन पटेल की रिपोर्ट

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दमोह-किसानों की मजबूरी का फायदा उठाकर किसान पंजीयन की आड़ समर्थन मूल्य पर धान भरेंगे व्यापारी जबेरा। जिले में भले ही धान की बंपर उपज हुई है लेकिन पंजीयन कराने वाले किसान अपनी उपज समर्थन मूल्य पर नहीं बेच रहे हैं क्याेंकि एक माह बाद खरीदी शुरू हाेती है उसके पहले किसानों को रबी सीजन की बोनी करने के लिए खाद व बीज की आवश्यकता रहती है इसलिए ये किसान मजबूरी में अपनी धान की उपज ओने-पौने दामों में बेच देते है और इस वर्ष भी यही हुआ और किसानों ने बोनी के लिए अपनी धान की कीमती हो पर पंजीयन के साथ व्यापारियों को कम दामों में बेच दी है। किसानों के पंजीयन की आड़ में व्यापारियों को समर्थन मूल्य का खूब फायदा हो जाता है लेकिन अन्नदाता किसान को अपनी उपज को समर्थन मूल्य धान खरीदी का फायदा नही होता है, यही वजह है कि किसान पंजीयन की आड़ में व्यापारी विचौलिये समर्थन मूल्य खरीदी केंद्रों पर अपना माल खपाने के लिए अभी से सक्रिय हो गए है और किसानों की सुविधा के नाम अपनी सुविधानुसार खरीदी केंद्र निर्धारित होने के बाद भी जिला प्रशासन और अधिकारियों को अंधेरे में रखकर इधर के उधर करने की साजिशें रची जा रही ,धान खरीदी की वास्तविकता की बात की जाए तो जबेरा मंडी में जबेरा के दोनों केंद्र सहित घाना मैली के लिए मंडी में गोदाम उपलव्ध किए और 60 हजार किवंटल की धान खरीदी केंद्र के अंतर्गत 10 ग्राम पंचायत के गांव के किसानों की होना है, बीते वर्ष जबेरा के केंद्रों सहित घाना मैली की धान खरीदी कलहरा धान खरीदी केंद्र से की गई थी और किसानों के द्वारा स्थानीय विधायक से जबेरा मंडी में खरीदी करने की मांग की गई और सुविधाओ को हवाला देते हुए जबेरा मंडी में छाया पानी सीसीटीवी कैमरा सहित तमाम सुविधाएं उपलब्ध है और जब इस वर्ष जबेरा मंडी से धान खरीदी शुरू हुई तो व्यापारियों के द्वारा किसानों को भड़का कर जबेरा मंडी में हो रही घाना मेली खरीदी केंद्र को कलहरा केप में खरीदी करवाने को हवा दी जा रही है जबेरा के दोनों केंद्रों सहित घाना मिली की खरीदी जबेरा मंडी से होने पर अधिकांश किसान खुश है जबकि बिचौलिए व्यापारी इन खरीदी केंद्र की व्यवस्थाओं खुश नहीं है, क्योंकि जनपद मुख्यालय पर होने वाली धान खरीदी में किसान पंजीयन की आड़ में व्यापारियों के द्वारा ओने-पौने खरीदी गई धान को समर्थन मूल्य पर भरने का गोरखधंधा इनकी मर्जीनुसार नही चल पाएगा जिसकी वजह से घाना मैली खरीदी केंद्र जबेरा मंडी की जगह को कलहरा केप में शिफ्ट करने की मांग किसानों के नाम से व्यापारी कर रहे है जिसके पीछे की हकीकत यह है कि किसान पंजीयन के नाम पर व्यापारियों के द्वारा धान केंद्र पर भारी मात्रा में धान भरने की कोशिशों पर थाना मुख्यालय तहसील जनपद मुख्यालय के पास जबेरा मंडी से हो रही धान खरीदी चलते जनपद के अधिकारियों की आवाजाही हर समय वने रहने के डर बताया जा रहा है मंडी में संचालित घाना मैली धान खरीदी केंद्र कलहरा केप में शिफ्ट होने से बीते वर्ष की भांति किसान पंजीयन की आड़ में व्यापारियों के द्वारा किसानों से खरीदी गई धान खरीदी केंद्र में भरने का रास्ता सुलभ हो जाए जवकि घाना मैली खरीदी केंद्र के प्रंबधक से लेकर क्षेत्र के किसान घाना मैली की धान खरीदी जबेरा मंडी में होने की बजह से खुश है क्योंकि धान खरीदी के लिए जबेरा मंडी में पर्याप्त सुविधाएं मौजूद है, जबेरा धान खरीदी केंद्र में हमेशा से जहां व्यापारियों का बोलबाला रहा है और किसान परेशान रहा है इस वार भी किसानों ने खरीदी केंद्र आपरेटर सुलभ जैन के द्वारा जबरन परेशान करने का आरोप लगाया है किसान संतोष, जितेंद्र, कृष्णकांत ने बताया कि पदस्थ आपरेटर द्वारा कभी बही के नाम पर कभी खसरा के नाम पर तो कभी आधारकार्ड को लेकर किसानों को परेशान किया जा रहा है जिससे किसानों का समर्थन मूल्य से मोह भंग हो जाये और सीधे व्यापारियों को इसका लाभ पहुंचाने षड्यंत्र किया जा रहा है। बताया जाता है कि इनकी चर्चित कार्यप्रणाली के चलते पहले अभाना ट्रांसफर कर दिया गया था लेकिन व्यापारियों की सांठगांठ से राजनैतिक हस्तक्षेप के चलते 1 सप्ताह पहले पुनः जबेरा स्थानांतरण हो गया है जिससे किसान पुनः परेशान होने लगे हैं, कौरता, करनपुरा, मुडेरी, विजय सागर, सुरई गांव के किसानों द्वारा शासन प्रशासन से जबेरा धान खरीद केंद्र में पदस्थ आपरेटर को तत्काल प्रभाव से हटाने की मांग की गई है।

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